Friday, March 29, 2024
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Singrauli news: यह चौकी बस नहीं एक सल्तनत है,प्रभारी बनने के लिए लगती है बोली!

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Singrauli news: सिंगरौली चौकी के(Singrauli Outpost) बारे में सुना होगा जाना होगा कि यह थाने के अंदर आता है. लेकिन आज हम आपको एक ऐसी चौकी(such a post) के बारे में बताएंगे जो भले एक थाने के अंदर आता है. लेकिन यह चौकी खुद में एक सल्तनत(a kingdom in itself) के रूप में मशहूर है. पुलिस चौकी(police station) के प्रभारी बनने के लिए सब इंस्पेक्टर बड़ी रकम चुका कर यहां के प्रभारी बनते हैं. इस चौकी पर नजर भोपाल सहित(including Nazar Bhopal) संभाग के आला अधिकारियों पर रहती है. इसके पीछे की क्या हकीकत है आज हम इस आर्टिकल में आपको बताएंगे.

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सिंगरौली सिंगरौली जिले में जयंत चौकी महक चौकी बस नहीं है. यह एक सल्तनत है कहने का मतलब की यह किसी थाने से कम नहीं है. इस चौकी का प्रभारी बनने के लिए लाखों में बोली लगती है. इसके पीछे इस चौकी क्षेत्र में एनसीएल की दो खदान जयंत और दूधिचुआ आते हैं. इतना ही नहीं यहां आईओसीएल का सबसे बड़ा डिपो भी है. जहां डीजल की चोरी लाखों में नहीं करोड़ों में होती है. यही वजह है कि इस चौकी की बोली भी खूब लगती है. कहा तो यह भी जाता है कि इस चौकी का प्रभारी बनने के लिए मंत्रियों सहित विधायकों को भी संतुष्ट करना पड़ता है. तब कहीं जाकर इस चौकी का प्रभार मिलता है. चौकी प्रभारी मंत्रियों सहित जनप्रतिनिधियों और पुलिस महकमे के आला अधिकारियों को हर महीने ईमानदारी से लाखों रुपए पहुंचाते हैं. तब कहीं जाकर वह चौकी के प्रभारी बनते हैं. वही यह चौकी भले ही विंध्य नगर में आता है लेकिन यह चौकी पूरी तरह से स्वतंत्र है इसीलिए हम इसे एक सल्तनत कह रहे हैं. Singrauli news

कोयला कबाड़ और डीजल के लिए माकूल है यह क्षेत्र

चौकी क्षेत्र को सल्तनत कहने का पीछे बड़ी वजह है कि यहां कोयला कबाड़ और डीजल कब बड़ा कारोबार होता है. उत्तर प्रदेश सहित मध्य प्रदेश के बड़े माफिया इसी क्षेत्र पर अपना कारोबार करते हैं, तो वहीं उत्तर प्रदेश की सीमा से लगा होने की वजह से भी इस चौकी की एक अलग पहचान है. सूत्र बताते हैं कि यहां ट्रकों से कोयले का परिवहन होता है. यहां एक ही टीपी पर कई ट्रिप कोयला का परिवहन किया जाता है. वही बॉडी ट्रक से ओवरलोड कोयले का खेल चलता है और सभी ट्रक से 20 से ₹30 हजार रुपए की एंट्री की वसूलती की जाती हैं।

मंत्री के रहमों करम में मिली है चौकी

इस कमाऊ चौकी के लिए पुलिस प्रभारियों की होड़ लगी रहती है. चौकी क्षेत्र का प्रभार में बड़ा कंपटीशन है. प्रभारी बनने के लिए मंत्रियों, विधायकों सहित पुलिस के आला अधिकारियों का आशीर्वाद होना बहुत जरूरी है. सूत्र बताते हैं कि नए चौकी प्रभारी एक मंत्री के कार्य खास हैं. यह लंबे समय से जयंत चौकी के प्रभारी बनने के लिए प्रयास कर रहे हैं. कभी भाजपा जिलाध्यक्ष के यहां माथा टेकते थें तो कभी विधायक के यहां. अब जब जयंत चौकी प्रभारी बन गयें है तो आलम यह है कि जयंत से लगे जयंत खदान, दुद्धीचुआ खदान और आईओसी डिपो में चोरियां बढ़ गई है. जिसकी वसूली पुलिसकर्मी सीआईडी कर रहा है Singrauli news

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